- दस्यु गिरोह और STF के बीच चलीं सैकड़ों राउंड गोलियां
- गौरी पर UP से 5 लाख और MP से 50 हजार का घोषित था इनाम
- STF के ADG अमिताभ यश की अगुवाई में आधी चला ऑपरेशन गौरी
- मौके से A.K-47 और क्लाशिनकोव सेमी ऑटो राइफल समेत कई असलहे बरामद
- बहिलपुरवा थाना एरिया के माधोमोड़ जंगलों में दस्यु गिरोह से हुई मुठभेड़
पाठा के जंगलों में STF के हाथों मारा गया 5 लाख रुपए का इनामी दस्यु सरदार गौरी शंकर यादव।
Yogesh Tripathi
करीब दो दशक से Uttar Pradesh और Madhya Pradesh पुलिस के लिए सिरदर्द बने पांच लाख रुपए के इनामी दस्यु सरदार गौरी शंकर यादव को फ्राइ-डे की Mid-Night कई घंटे तक चली मुठभेड़ के बाद UPSTF ने मार गिराया। पुलिस और दस्यु गिरोह के बीच सैकड़ों राउंड फायरिंग हुई। जंगल और रात के अंधेरे का फायदा उठाकर गिरोह के अन्य डकैत भागने में सफल रहे। ऑपरेशन को STF के ADG अमिताभ यश की अगुवाई में अंजाम दिया गया। STF ने मौके से A.K-47, क्लाशिनकोव सेमी ऑटोमैटिक राइफल समेत कई असलहे और भारी मात्रा में कारतूस भी बरामद किए हैं। गौरी यादव के Encounter में मारे जाने के बाद पाठा के जंगलों से अब दस्यु गिरोहों का पूरी तरह से सफाया हो चुका है।
शनिवार सुबह STF Team के साथ जंगल में कांबिंग करते STF (ADG) अमिताभ य़श।
STF Officer’s के मुताबिक मुठभेड़ मध्यरात्रि को Start हुई। मुखबिर तंत्र की सूचना पर STF ने बहिलपुरवा स्थित माधोमोड़ के जंगलों में जब दस्यु गिरोह की घेराबंदी की तो डकैतों ने STF Team पर अंधाधुंध गोलियों की बौंछार शुरु कर दी। अचानक फायरिंग से STF Team कुछ देर के लिए बैकफुट पर हो गई लेकिन बाद में जवानों ने स्वचालित हथियारों से डकैतों पर फायरिंग शुरु की। करीब दो घंटे तक एसटीएफ और दस्यु गिरोह के बीच फायरिंग होती रही। काफी देर बाद जब डकैतों की तरफ से फायरिंग बंद हुई तो STF के जवान आगे बढ़े। सर्चिंग के दौरान STF को एक डकैती की लाश मिली। जिसकी शिनाख्त दस्यु गौरी यादव के रूप में हुई।
दस्यु गौरी शंकर यादव को ढेर करने के बाद मौका-ए-वारदात पर STF (ADG) अमिताभ यश।
STF के मुताबिक मौके से A.K-47 और क्लाशिनकोव सेमी ऑटो राइफल,.12 बोर की बंदूक समेत कई असलहे और कारतूस भी मिले। अंधेरे का फायदा उठाकर भाग निकले गिरोह के अन्य बदमाशों की तलाश में STF Team शनिवार सुबह से जंगलों में सर्च ऑपरेशन चला रही है। कांबिंग के दौरान कोबरा टीम को भी लगाया गया है। एसटीएफ के मुताबिक दस्यु गौरी यादव पर यूपी से 5 लाख रुपए और मध्य प्रदेश से 50 हजार रुपए का इनाम घोषित था। पिछले कुछ महीनों में पुलिस और दस्यु गिरोह के बीच कई बार मुठभेड़ हुई लेकिन हर बार वह बचकर भाग निकला।
मौका-ए-वारदात पर STF Taem के साथ छानबीन करते STF (ADG) अमिताभ यश।
STF के मुताबिक गौरी यादव बहिलपुरवा थाना एरिया के माड़व बाग गांव का रहने वाला था। उसके एनकाउंटर में मारे जाने की सूचना सुबह होते ही परिजनों को दी गई। परिजनों ने भी मौके पर पहुंचकर गौरी की पहचान की। गौरी करीब दो दशक पहले पाठा के जंगलों में कूदा था।
गौरी यादव के Encounter में मारे जाने के बाद रोती-बिलखती घर और पड़ोस की महिलाएं।
सबसे पहले उसने दस्यु सरगना ददुआ के लिए लंबे समय तक काम किया। गौरी यादव ने 2005 में अपना संगठित गिरोह खड़ा किया। उस दौर में दस्यु सम्राट ददुआ, रागिया, ठोकिया, बलखड़िया जैसे खूंखार डकैतों की पाठा के जंगलों में तूती बोलती थी। ददुआ, रागिया, ठोकिया और बलखड़िया को ढेर करने के बाद दो साल पहले STF ने बबुली कोल को भी ढेर कर दिया। बबुली के मारे जाने के बाद गौरी यादव का एक मात्र गिरोह पाठा के जंगलों में बचा था।
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