• मुख्य सचिव P.K Jena ने Tweet कर दी जानकारी
  • Accident में तीन Train शामिल थीं : P.K Jena
  • शनिवार सुबह तक जारी रहा राहत और बचाव कार्य

 


Yogesh Tripathi

Odisha में बेंगलुरू-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस, शालीमार-चेन्नई सेंट्रल कोरोमंडल एक्सप्रेस और एक मालगाड़ी के Accident में 207 लोगों की मौत हो गई, जब कि करीब 900 यात्री घायल हो गए। यह जानकारी Odisha के मुख्य सचिव P.K Jena ने दी। उन्होंने बताया कि राहत और बचाव कार्य युद्धस्तर पर जारी है। पीड़ित यात्रियों और उनके परिजनों के लिए Helpline Number’s जारी किए गए हैं। मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने हादसे पर गहरा दुःख व्यक्त किया है। 


Accident शुक्रवार शाम 7 बजे कोलकाता से करीब 250 किलोमीटर दक्षिण और भुवनेश्वर से 170 किलोमीटर उत्तर बालासोर जिले के बहनागा बाजार स्टेशन के पास हुआ। Railway के एक अधिकारी का कहना है कि हावड़ा के रास्ते में 12864 बेंगलुरु-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस के कई डिब्बे पटरी से उतरकर बगल की पटरियों पर गिर गए। उन्होंने कहा कि "पटरी से उतरे ये डिब्बे 12841 शालीमार-चेन्नई सेंट्रल कोरोमंडल एक्सप्रेस से टकरा गए और इसके डिब्बे भी पलट गए" उन्होंने कहा कि Accident में एक मालगाड़ी भी शामिल थीRailway Spoke Person अमिताभ शर्मा ने PTI को बताया कि कोरोमंडल एक्सप्रेस पहले पटरी से उतरी। उसके 10-12 डिब्बे उस लाइन पर गिर गए जिस पर बेंगलुरू-हावड़ा एक्सप्रेस जा रही थी देर रात ओडिशा के मुख्य सचिव जेना ने कहा कि हादसे में तीन ट्रेनें शामिल थीं।

 

Odisha के विशेष राहत आयुक्त सत्यब्रत साहू ने कहा कि हादसे में घायल हुए 900 लोगों का अलग-अलग अस्पतालों में इलाज चल रहा है। भुवनेश्वर में एम्स सहित आसपास के जिलों के सभी सरकारी और निजी अस्पतालों को Alert पर रखा गया है। वहीं, रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि बचाव अभियान में मदद के लिए एयरफोर्स की भी मदद ली जा रही है। भुवनेश्वर जिला प्रशासन का कहना है कि 1,200 कर्मियों के अलावा 115 एंबुलेंस, 50 बसें और 45 मोबाइल स्वास्थ्य इकाइयां दुर्घटनास्थल पर Work कर रही हैं। 


 

स्थानीय लोगों ने कहा कि उन्होंने लगातार तेज आवाजें सुनीं जिसके बाद लोग मौके पर पहुंचे। मौके पर पटरी से उतरे ट्रेन के डिब्बों दबे यात्रियों की चीख-पुकार सुनकर सभी को तत्काल बाहर निकालने का काम Start किया गया। जिला प्रशासन और बचाव दल के पहुंचने से पहले स्थानीय लोग घायलों को ट्रैक्टर आदि के जरिए अस्पताल लेकर पहुंचे। 


 

घायलों यात्रियों की मदद के लिए रात में 2,000 से अधिक लोग बालासोर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में एकत्र हुए। यहां सैकड़ों लोगों ने रक्तदान भी किया। वहीं, देर रात्रि तक गैस कटर का प्रयोग कर पटरी से उतरे डिब्बों के नीचे से शवों को निकालने का काम युद्धस्तर पर जारी रहा। दुर्घटनास्थल पर रेल की पटरियां लगभग नष्ट हो गईं क्योंकि क्षतिग्रस्त डिब्बे चारों ओर बिखरे पड़े थे, जिनमें से कुछ डिब्बे दूसरे पर चढ़े हुए थे, जबकि कुछ बोगियां टक्कर के कारण पलट गईं। Railway ने मृतकों के परिजनों के लिए 10 लाख रुपये, गंभीर रूप से घायलों के लिए 2 लाख रुपये और मामूली रूप से घायलों के लिए 50,000 रुपये की इमदाद देने की घोषणा की है।

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